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रिहाई के बाद भी नरक भोग रहे हैं, राजीव गांधी की हत्या के दोषियों ने हाई कोर्ट से लगाई गुहार

चेन्नई. पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी की हत्या के दो दोषियों बी रॉबर्ट पायस और एस जयकुमार को त्रिची के स्पेशल कैंप में रखा गया है। नवंबर 2022 में सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद जेल में बचे सभी 6 दोषियों को रिहा कर दिया गया था। अब इनमें से दो ने मद्रास हाई कोर्ट से अपील की है कि उन्हें इस कैंप से निकाला जाए और अपने परिवार के पास जाने दिया जाए। पायस नीदरलैंड्स जाना चाहता है और जयकुमार चेन्नई में अपने परिवार के साथ रहना चाहता है।

इस याचिका में कहा गया है कि कैंप की स्थिति जेल से भी खराब है। उन्हें अपने कमरों से निकलकर वहां के ही लोगों से मिलने नहीं दिया जाता है। उन्हें बाहर घूमने टहलने भी नहीं जाने दिया जाता है। उनका कहना है, अगर स्थिति ऐसी ही बनी रही तो हम मानसिक रूप से बीमार हो जाएंगे। त्रिची डीएम के 2022 के एक मीडिया इंटरव्यू का हवाला देते हुए उन्होंने कहा कि बताया गया था कि उन्हें श्रीलंका डीपोर्ट किया जाएगा और 10 दिन में ही आदेश आने वाला था। हालांकि कई महीने बीत जाने के बाद भी कोई प्रक्रिया शुरू नहीं हुई है। इसका मतलब है कि श्रीलंका उन्हें नहीं बुलाना चाहता है। उन्होंने यह भी कहा कि श्रीलंका वापस जाना उनके लिए मौत जैसा होगा।

रॉबर्ट पायस ने कहा कि वह अपने वकील के माध्यम से ऐसे संगठनों से संपर्क कर रहे हैं जो कि उनको नीदरलैंड भेजने में मदद करें। बता दें कि पायस का परिवार इस वक्त नीदरलैंड्स में ही रहता है। उनका कहना है कि कैंप में हिरासत में होने की वजह से वह प्रशासन के सामने कोई प्रक्रिया पूरी करने के लिए पेश भी नहीं हो पाते। वहीं जयकुमार का कहना है कि डॉक्टरों ने उन्हें आंख की सर्जरी करवाने को कहा है अन्यथा उनकी रोशनी भी जा सकती है। उनका कहना है कि कैंप के हालात जेल से भी खऱाब और पीड़ादायी हैं।

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