
पटनाT. बिहार में नवंबर में होने वाले विधानसभा चुनाव से पहले राजनीतिक सरगर्मियां तेज हैं। दावे-प्रतिदावों के बीच राजनीतिक दल आमजन को अपनी तरफ आकर्षित करने के लिए रैलियों, पदयात्राओं और जनसभाओं जैसे राजनीतिक कार्यक्रम आयोजित कर रहे हैं। इसी कड़ी में कांग्रेस ने पहले राहुल गांधी के नेतृत्व में वोटर अधिकार यात्रा की। उसकी सफलता से गदगद कांग्रेस अब 84 साल बाद पहली बार बिहार में अपनी कार्यसमिति (CWC) की बैठक करने जा रही है। पार्टी 24 सितंबर को पटना में CWC बैठक करने जा रही है। इससे पहले 1940 में पटना में CWC की बैठक हुई थी। पार्टी की इस रणनीति से बिहार कांग्रेस के नेता गदगद हैं और उनका जोश हाई है। पार्टी नेता इसे स्वतंत्रता की दूसरी लड़ाई करार दे रहे हैं।
बिहार कांग्रेस के प्रभारी कृष्णा अल्लावरू ने सोमवार को पत्रकार वार्ता में कहा कि बिहार में कांग्रेस ‘‘स्वतंत्रता की दूसरी लड़ाई’’ लड़ रही है और यही कारण है कि यह बैठक यहां बुलाई गई है। उन्होंने कहा, “बिहार अब राष्ट्रीय राजनीति का केंद्र बन गया है। बिहार के लोगों के समर्थन से, हम दूसरे स्वतंत्रता संग्राम की तैयारी कर रहे हैं। कांग्रेस पार्टी और इंडिया गठबंधन बिहार और भारत के लोगों के अधिकारों के लिए लड़ने के लिए तैयार हैं।”
CWC मीट में कौन-कौन होंगे शामिल?
उन्होंने बताया कि CWC बैठक में कांग्रेस अध्यक्ष खरगे और लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी भी मौजूद रहेंगे। इनके अलावा सीडब्ल्यूसी के सभी अन्य सदस्यों को भी आमंत्रित किया गया है। बैठक में कांग्रेस शासित राज्यों के मुख्यमंत्रियों के भी शामिल होने की उम्मीद है। अल्लावरू ने आरोप लगाया कि केंद्र में सत्तारूढ़ भाजपा ‘‘वोट चोरी’’ में शामिल है और प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ‘‘ऐसे विद्यार्थी की तरह हैं जो कड़ी मेहनत नहीं करता, बल्कि परीक्षा में अच्छा प्रदर्शन करने के लिए गलत तरीकों का सहारा लेता है।’’
आजादी की दूसरी लड़ाई रहे हैं: अल्लावरू
अल्लावरू ने कहा, ‘‘हम बिहार में दूसरी आजादी की लड़ाई रहे हैं और इसी कारण सीडब्ल्यूसी बैठक यहां हो रही है।’’ एक अन्य सवाल के जवाब में अल्लावरू ने कहा कि ‘इंडिया’ गठबंधन में सीट बंटवारे को लेकर सकारात्मक बातचीत जारी है और जल्द ही एक व्यावहारिक फार्मूला सामने आ जाएगा। उन्होंने दावा किया कि इसके विपरीत भाजपा के नेतृत्व वाले NDA गठबंधन में अव्यवस्था है। अल्लावरु ने कहा कि सीडब्ल्यूसी की बैठक में बिहार और देश आज जिन महत्वपूर्ण मुद्दों का सामना कर रहे हैं, जैसे बेरोज़गारी, मुद्रास्फीति, बढ़ते अपराध और महिलाओं पर अत्याचार पर चर्चा की जाएगी।
वास्तविक समस्याओं का समाधान नहीं कर रही सरकार
केंद्र की आलोचना करते हुए, अल्लावरु ने कहा, “11 साल बीत जाने के बावजूद, प्रधानमंत्री (नरेंद्र) मोदी और उनकी सरकार ने इन मुद्दों को सुलझाने में कोई दिलचस्पी नहीं दिखाई है। वे उन छात्रों की तरह हैं जो पढ़ाई में विश्वास नहीं रखते, बल्कि परीक्षा में नकल करते हैं। मोदी और (केंद्रीय गृह मंत्री) अमित शाह चुनाव चुराते हैं, इसलिए वे लोगों की वास्तविक समस्याओं का समाधान नहीं करते।”
सदाकत आश्रम की महत्ता क्या?
बिहार प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष राजेश कुमार ने इसी पत्रकार वार्ता में कहा कि सदाकत आश्रम में कांग्रेस कार्यसमिति की बैठक आयोजित होना पार्टी के लिए ऐतिहासिक पल है। उन्होंने कहा, ‘‘यह हमारे लिए ऐतिहासिक क्षण है कि सदाकत आश्रम सीडब्ल्यूसी की बैठक की मेजबानी कर रहा है, जहां महात्मा गांधी, डॉ. राजेंद्र प्रसाद और जवाहरलाल नेहरू जैसे महान नेताओं ने विचार-विमर्श किया था।’’ उन्होंने कहा कि यह गर्व की बात है कि यह बैठक उसी सदाकत आश्रम में होगी और वहां से हम अपने राष्ट्र के भविष्य पर चर्चा करेंगे। कुमार ने सदाकत आश्रम के ऐतिहासिक महत्व का भी उल्लेख किया और बताया कि इसका निर्माण लगभग 20 एकड़ भूमि पर हुआ था, जिसे प्रसिद्ध स्वतंत्रता सेनानी मौलाना मजहरुल हक ने दान में दिया था।




