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होलिका दहन की रात करें यह चमत्कारी टोटका, रातों-रात बन जाएंगे अमीर; बस कुछ चीजों का रखें ध्यान

होली सिर्फ रंगों का पर्व नहीं है. बल्कि तंत्र साधना, मंत्र सिद्धि या ज्योतिषीय दृष्टि से भी बेहद महत्वपूर्ण है. होलिका दहन की रात किए गए उपाय, टोन-टोटके, पूजा-पाठ का कई गुना अधिक और शीघ्र फल प्राप्त होता है. ज्योतिषियों की मानें तो जिन लोगों की कुंडली में अचानक धन प्राप्ति का योग बनता है, तो होलिका दहन की रात एक खास पूजा करके, उस गड़े हुए धन को प्राप्त कर सकते हैं. लेकिन, इससे पहले यह जानना जरूरी है कि कुंडली में अचानक धन प्राप्ति के योग बनते कब हैं?

जिन लोगों की कुंडली में अचानक धन प्राप्ति के योग बनते हैं, उन्हें निश्चित ही धन की प्राप्ति होती है. जबकि गड़े हुए धन के अगर योग कुंडली में बन रहे हैं, और जातक को लगता है या कहीं से पता चलता है कि उसके घर खेत या अन्य किसी स्थल पर धन गड़ा हुआ है, तो उसे पाने के लिए कुछ खास उपाय और पूजा की जरूरत होती है. और होलिका दहन की रात गड़ा हुआ धन पाने के लिए सबसे सर्वश्रेष्ठ समय माना जाता है.

कुंडली में कब बनते हैं धन प्राप्ति के योग
ज्योतिषाचार्य बताते हैं कि, जातक की कुंडली में दूसरे, तीसरे, नौवें और ग्यारवें भाव में यदि शुभ ग्रह बैठा हुआ है और उसी की महादशा चल रही है, साथ ही ग्रह का प्रत्यंतर भी चल रहा हो, तो धन प्राप्ति के प्रबल योग बनते हैं. इस साल 2025 में होलिका दहन (13 मार्च 2025) की रात उस स्थान पर खुदाई की जाए जहां धन होने की संभावना है तो जातक को वहां गड़ा हुआ धन प्राप्त होने की संभावना बनती है.

धन प्राप्त करने के लिए क्या करना होगा
गड़ा हुआ धन पाने के लिए खुदाई से पहले जातक को कुछ विशेष पूजा अर्चना भी करनी पड़ेगी. डॉ. बसंत सोनी के मुताबिक, जिस जगह खुदाई करनी है उस स्थान के देवता, उस क्षेत्र के खेड़ापति हनुमान को पहले खुश करना होगा. जिसके लिए जातक को संबंधित देवता के पसंदीदा व्यंजनों का भोग लगाना होगा और फिर लाभ के चौघड़िया में खुदाई करना चाहिए. ऐसा करने से धन प्राप्त करवाने में देवता मदद करेंगे.

इन बातों का विशेष ध्यान रखें
गड़ा हुआ धन पाने के लिए जातक द्वारा होलिका दहन की रात किए गए इस खास उपाय को करने के दौरान कुछ विशेष बातों का ध्यान रखना चाहिए. होलिका दहन की रात सिद्ध रात्रि मानी जाती है, इसलिए अनुभव न हो तो किसी अनुभवी पंडित या तंत्र-मंत्र विद्या से जुड़े हुए साधक के सानिध्य में ही इस कार्य करें. अकेले करने की कोशिश नहीं करें. अन्यथा इसका बुरा प्रभाव भी पड़ सकता है.

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