UPS को बढ़ावा देने के लिए मोदी का मास्टरस्ट्रोक, NPS की ही तरह मिलेगा लाभ

नई दिल्ली : यूनिफाइड पेंशन स्कीम यानी यूपीएस से जुड़े कर्मचारियों के लिए एक खुशखबरी आयी है। यूपीएस को बढ़ावा देने के लिए केंद्र की मोदी सरकार ने इस स्कीम को चुनने वाले कर्मचारियों को नेशनल पेंशन स्कीम यानी एनपीएस की ही तरह टैक्स बेनिफिट्स देने के लिए अहम बदलाव करने का फैसला लिया है।
वित्त मंत्रालय ने शुक्रवार को एक बयान में कहा कि यूपीएस को टैक्स स्ट्रक्चर के अंतर्गत शामिल करना पारदर्शी, लचीले और कर-कुशल विकल्पों के माध्यम से केंद्र सरकार के कर्मचारियों के लिए रिटायरमेंट सिक्योरिटी को मजबूत करने की दिशा में सरकार का एक और कदम है। मंत्रालय ने कहा है कि सरकार ने तय किया है कि एनपीएस के अंतर्गत उपलब्ध टैक्स बेनिफिट्स यूपीएस पर भी लागू होंगे क्योंकि यह एनपीएस के अंतर्गत एक ऑप्शन है।
ये प्रावधान मौजूदा एनपीएस स्ट्रक्टर के साथ समानता सुनिश्चित करते हैं और यूपीएस का ऑप्शन चुनने वाले कर्मचारियों को पर्याप्त टैक्स बेनिफिट्स और प्रोत्साहन प्रदान करते हैं। वित्त मंत्रालय ने 24 जनवरी, 2025 को नोटिफिकेशन जारी किया था कि 1 अप्रैल, 2025 से केंद्र सरकार की सिविल सर्वि्सेज में रिक्रूडटमेंट हासिल करने वाले कर्मचारियों के लिए एनपीएस के अंतर्गत एक ऑप्शन के रुप में यूपीएस को लागू किया था।
इस नोटिफिकेशन के बाद एनपीएस के अंतर्गत आने वाले सरकारी कर्मचारियों को यूपीएस के अंतर्गत शामिल होने का वनऑफ ऑप्शन मिल गया। इस ढांचे को क्रियान्वित करने के लिए पेंशन कोष विनियामक और विकास प्राधिकरण यानी पीएफआरडीए ने 19 मार्च 2025 को पीएफआरडीए यानी एनपीएस के तहत एकीकृत पेंशन योजना का संचालन विनियम, 2025 को नोटिफाई किया।
यूनिफाइड पेंशन स्कीम केंद्र सरकार के उन कर्मचारियों पर लागू होता है जो एनपीएस के दायरे में आते हैं और एनपीएस के अंतर्गत इस ऑप्शन को चुनते हैं। इस ऑप्शन का इस्तेमाल 23 लाख सरकारी कर्मचारी कर सकते हैं। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में केंद्रीय मंत्रिमंडल ने 24 अगस्त, 2024 को यूपीएस का ऑप्शन लाने की मंजूरी दी थी। पुरानी पेंशन योजना यानी ओल्ड पेंशन स्कीम को जनवरी, 2004 से बंद कर दिए जाने के बाद सरकारी कर्मचारियों के लिए एनपीएस लाया गया था।